जोगेंद्र मावी, ब्यूरो
हरिद्वार। बसपा में जनता कैबिनेट पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष भावना पांडेय को पार्टी में शामिल कराकर उसे प्रत्याशी घोषित करना प्रदेश प्रभारी नरेश गौतम को भारी पड़ गया है। पार्टी सुप्रीमो ने उसे पदमुक्त कर दिया हैं, हरिद्वार के जिलाध्यक्ष की कार्यशैली पर भी सवाल उठ रहे हैं।
22 मार्च को बहुजन समाज पार्टी में भावना पांडेय शामिल हुई थी। हाईकमान की ओर से प्रदेश प्रभारी नरेश गौतम को भावना पांडेय को शामिल कराने के निर्देश जारी हुए थे। भावना पांडेय को पार्टी में शामिल कराते समय प्रदेश प्रभारी नरेश गौतम ने बिना हाईकमान के आदेश या किसी प्रकार की विज्ञप्ति जारी किए बिना ही उसे स्वयं के विवेक से प्रत्याशी घोषित कर दिया था। इसकी आवाज बसपा सुप्रीमो तक पहुंची। इसी के साथ बसपा को झटका देते हुए भावना पांडेय ने इस्तीफा जारी कर दिया। मामला में हाईकमान ने तत्काल संज्ञान लिया और नरेश गौतम को पदमुक्त कर दिया। हालांकि नरेश गौतम पर पहले भी आरोप लगते रहे हैं।
बताया जा रहा है कि भावना पांडेय से हरिद्वार जिलाध्यक्ष ने नामांकन कराने के लिए बतौर खर्चा के लिए मोटी रकम की डिमांड कर दी थी। जिलाध्यक्ष ने भावना को अपने निर्देशन में काम करने के लिए निर्देशित कर दिया। जिससे पांडेय की भावना आहत हो गई थी, क्योंकि भावना पांडेय को किसी की गुलामी मंजूर नहीं। जिससे आहत होकर उसने त्यागपत्र जारी कर दिया था।
पांचों प्रत्याशी किए घोषित
उत्तराखंड की पांच लोकसभा सीटों के लिए मंगलवार को बहुजन समाज पार्टी ने प्रत्याशियों का एलान कर दिया है। हरिद्वार से जमील अहमद को टिकट दिया गया है। टिहरी गढ़वाल से नीम चंद छुरियाल पौढ़ी गढ़वाल से धीर सिंह बिष्ट अल्मोड़ा से नारायण दास नैनीताल-ऊधम सिंह नगर सीट से अख्तर अली माही गिर को टिरट दिया है।

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