जोगेंद्र मावी, ब्यूरो
हरिद्वार। उत्तराखंड में भूमि खरीदने वालों को जल्द ही झटका लगने वाला है। नियमानुसार जल्द ही सर्किल रेट बढ़ जाएंगे। हरिद्वार में लक्सर रोड, श्यामपुर नजीबाबाबाद रोड के साथ हरिद्वार—रुड़की हाईवे पर भूमि के सर्किल रेट सबसे ज्यादा बढ़ेंगे। बढ़े हुए सर्किल रेट एक मई से लागू हो सकते हैं। इससे पहले 16 फरवरी 2023 को प्रदेश में सर्किल रेट बढ़ाए गए थे। सर्किट रेट अधिकतम 26 प्रतिशत की औसत वृद्धि सर्किल रेट में होगी।
हरिद्वार में कुछ स्थानों पर सर्किल रेट से कम भूमि के रेट है तो कुछ स्थानों पर सर्किल रेट से कई गुणा अधिक कीमत पर प्लॉट की भूमि खरीदी जा रही है। जगजीतपुर में जहां सर्किल रेट 25 हजार रुपये मीटर है तो बाजार कीमत इससे कम है। हाईवे के किनारे तो यह कीमत कई गुणा ज्यादा हो जाती है। कृषि भूमि भी कई स्थानों पर सर्किल रेट से कम है। ऐसे स्थानों पर फिर से सर्किल रेट बढ़े तो भूमि खरीदनी मुश्किल हो जाएगी। शहर के अंदर गोविंदपुरी जैसी रिहाइसी कॉलोनी में फिलहाल दो लाख रुपये वर्ग मीटर से अधिक भूमि बिक रही है, लेकिन सर्किल रेट बहुत कम है। व्यवसायिक भूमि में आज भी बहुत अंतर के साथ खरीदी बेची जा रही है।
उत्तराखंड स्टांप (संपत्ति मूल्यांकन) नियमावली, 2015 के अनुसार सर्किल रेट प्रति वर्ष बढ़ाए जाने हैं। इससे पहले 16 फरवरी, 2023 को प्रदेश में सर्किल रेट बढ़ाए गए थे। तब भी कोरोना संकट के कारण लगभग तीन वर्ष बाद सर्किल रेट में वृद्धि की गई थी। अब भी दो वर्ष और दो माह से अधिक समय बाद सर्किल रेट में संशोधन किया जाएगा।
जिलों से सर्किल रेट बढ़ाने के संबंध में प्रस्ताव स्टांप एवं निबंधन विभाग को भेजे गए थे। स्टांप एवं निबंधन महानिरीक्षक के स्तर पर इन सर्किल रेट का परीक्षण किया गया। इसके बाद शासन स्तर पर कई बैठकों में इस संबंध में जिलों से प्राप्त प्रस्ताव का परीक्षण किया गया। शासन की ओर से प्रस्तावों में इंगित की गई कमियों को जिलों के स्तर से दूर किया गया। इसके बाद जिलों से भेजे गए प्रस्ताव को अब उच्चानुमोदन मिल चुका है।
यह तय किया गया है कि सर्किल रेट बढ़ाने का प्रस्ताव मंत्रिमंडल के समक्ष नहीं रखा जाएगा। वित्त सचिव के स्तर पर गठित समिति इस संबंध में निर्णय ले सकेगी। नए सर्किल रेट के निर्धारण में सरकार ने दो वर्षों की औसत वृद्धि का आकलन किया है। प्रतिवर्ष बढ़ रही महंगाई और आर्थिक वृद्धि दर के दृष्टिगत माना जा रहा है कि लगभग 26 प्रतिशत की औसत वृद्धि सर्किल रेट में होगी। वहीं, सर्किल रेट बढ़ेंगे तो भूमि की कीमत भी बढ़ेगी, ऐसे में आशियाना बनाना गरीबों से दूर हो जाएगा।