सांकेतिक फोटो

जोगेंद्र मावी, ब्यूरो
हरिद्वार। रानीपुर मोड क्षेत्र के निवासी वैश्य समाज के एक परिवार ने दहेज की मांग को लेकर शादी के 3 महीने बाद ही पुत्रवधु के साथ मारपीट कर घर से निकाल दिया। पीड़िता ने पुलिस पर कार्रवाई न करने का आरोप लगाते हुए न्यायालय से इंसाफ की गुहार लगाई। महिला के प्रार्थना पत्र पर सुनवाई करने के बाद न्यायालय ने महिला के पति, सास, ससुर व देवर पर प्रथम दृष्टया दहेज की मांग करने, महिला से मारपीट करने व जान से मारने की धमकी देने संबंधी धाराओं में न्यायालय के समक्ष पेश होने का आदेश जारी किया है। प्रथम अपर जिला जज विवेक सिंह राणा ने दो अप्रैल को आदेश पारित करते हुए 10 मई को कोर्ट में पेश होने को आदेश दिए।
मामले के अनुसार ज्वालापुर निवासी एक युवती का विवाह 16 फरवरी—2021 को रानीपुर मोड के निकट रहने वाले साकार गर्ग के साथ संपन्न हुआ था। महिला के अनुसार उसके मायके पक्ष की ओर से शादी में 20 लाख रुपए का खर्च किया गया था। इसके बावजूद भी ससुराल पक्ष के लोग संतुष्ट नहीं थे और लगातार उस पर अपने घर से ₹6 लाख या कार लाने का दबाव बना रहे थे। मानसिक दवाब के चलते हुए शादी के 1 माह बाद ही सीढ़ियों से गिरकर उसे काफी चोट आई थी, ससुराल वालों ने घायल होने पर भी उसका इलाज नहीं कराया। इसके बाद जून 2021 में पीड़िता के सास-ससुर व देवर ने दहेज की मांग को लेकर लात-घूंसो से उसकी पिटाई की। पति ने भी डंडे से उसकी पिटाई की और मायके से ₹6 लाख या कार लाने की बात कहकर उसे घर से निकाल दिया। पीड़िता के अनुसार उसने इसकी शिकायत ज्वालापुर कोतवाली में की। कोतवाली की महिला हेल्पलाइन में दोनों पक्षों को बुलाकर उनकी काउंसलिंग की गई लेकिन कोई समझौता नहीं हो पाया। जिसके बाद पीड़िता ने न्यायालय में प्रार्थना पत्र देकर ससुराल पक्ष के लोगों पर मुकदमा दर्ज करने की मांग की। अपनी बात के समर्थन में पीड़िता ने अपनी चोट का मेडिकल,बैंक खातों से किए गए लेनदेन के कागजात तथा पुलिस को दिए गए प्रार्थना पत्र की प्रति भी संलग्न की।
पीड़िता के अधिवक्ता सतीश दत्त शर्मा की दलीलें सुनने के बाद न्यायालय ने प्रथम दृष्टया उसके आरोपों को सही मानते हुए भारतीय दंड संहिता की धारा 498A,323,504,506 व दहेज प्रतिषेध अधिनियम की धारा 3/4 के तहत पीड़िता के पति साकार गर्ग, ससुर सुनील गर्ग, सास संजू गर्ग तथा देवर विभोर गर्ग को न्यायालय में पेश होने के लिए सम्मन जारी किया है।